इस नई शल्य प्रक्रिया से डायबिटीज के गंभीर रोगियों को इंसुलिन लेने की जरूरत नहीं पड़ेगी, देखे


Report manpreet singh 

RAIPUR chhattisgarh VISHESH : डायबिटीज एक ऐसी बीमारी है जो शरीर में कई बीमारियों के लिए अवसर मुहैया कराती है। दुनिया भर के लगभग 10 फीसद लोग इस बीमारी से ग्रस्त हैं। टाइप-2 डायबिटीज से गंभीर रूप से ग्रसित रोगियों को रोज इंसुलिन का इंजेक्शन लेना पड़ता है जो बहुत ही तकलीफ देने वाला तरीका है। लेकिन वैज्ञानिकों ने ऐसा तरीका इजाद किया है जिसमें अब ज्यादातर डायबिटीज के गंभीर रोगियों को इंसुलिन लेने की आवश्यकता ही खत्म हो जाएगी। उनके शरीर में इस प्रक्रिया के माध्यम से अपने आप इंसुलिन बनने लगेगा। दूसरी ओर लोगों को डायबिटीज के महंगे इलाज से भी छुटकारा मिल सकता है।

इस प्रक्रिया में एक कैथेडर को छोटी आंत में प्रतिरोपित किया जाएगा जिससे म्यूकोसल कोशिकाएं नष्ट हो जाएंगी। म्यूकोसल कोशिकाओं के कारण ही शरीर में अंदरुनी प्रक्रियाओं में परिवर्तन आने लगता है और इंसलिन का उत्पादन कम होने लगता है। इस प्रक्रिया को ड्यूडेनल म्यूकोजल रिसरफेसिंग यानी डीएमआर नाम दिया गया है। म्यूकोजल टिशू के नष्ट होने के बाद नए और स्वस्थ कोशिकाओं का उत्पादन होगा जिससे डायबिटीज में इंसुलिन लेने की आवश्यकता नहीं होगी।

लाखों रुपये बचेंगे : पायलट परियोजना के आधार पर इस प्रक्रिया का परीक्षण नीदरलैंड में हो रहा है। डीएमआर का आविष्कार बायोटेक्नोलॉजी कंपनी फ्रेक्टाइल के सीईओ डॉ हेरीथ राजगोपालन ने किया है। पायलट परियोजना का रिजल्ट बहुत अच्छा रहा है। डीएमआर प्रक्रिया के कारण इंसुलिन पर पूरी तरह निर्भर टाइप 2 डायबिटीज के मरीजों में 75 प्रतिशत को छह महीने बाद इंसुलिन की आवश्यकता से मुक्त कर दिया गया है।

इस प्रक्रिया के तहत भाग लेने वाले बाकी प्रतिभागियों में भी इंसुलिन की मात्रा को आधे तक कम किया गया है। इस अध्ययन में यह भी देखा गया कि जिन लोगों ने डीएमआर प्रक्रिया में भाग लिया, उनके बॉडी मास इंडेक्स बीएमआई में भी आश्चर्यजनक रूप से कमी आई है। डॉ हेरीथ राजगोपालन ने बताया कि डायबिटीज के कारण दुनिया भर में अरबों डॉलर खर्च करना पड़ता है। टाइप 2 डायबिटीज के लिए अकेले अमेरिका में 58 दवाओं को मंजूरी मिल चुकी है जिसकी कीमते सैकड़ों डॉलर में है।

डीएमआर इन सभी समस्याओं का समाधान है। इससे दुनिया में अरबों डॉलर बचाया जा सकता है। यह दुनिया की ऐसी पहली थेरेपी होगी जिसमें इंसुलिन पर निर्भर लोगों को इंसुलिन की आवश्यकता ही खत्म कर दी जाएगी। इस प्रक्रिया के लिए एक छोटी सी सर्जरी करनी पड़ेगी। इसके लिए अस्पताल में भर्ती होने की भी जरूरत नहीं।

Popular posts
रायपुर, IG सहित कई पुलिसकर्मी रहेंगे 7 दिनों तक क्वारंटाइन, सामने आई कोरोना जांच की रिपोर्ट
Image
जानिए आरती डोगरा की कहानी --- 03 फीट की इस लड़की जिसने समाज मे ताने खाकर भी बनी IAS अफसर
Image
स्नातक, स्नातकोत्तर, फर्स्ट और सेकेंड ईयर की परीक्षा लेने के लिए विश्वविद्यालय स्वतंत्र, सुप्रीम कोर्ट ने कहा…विवि अगर परीक्षाएं कराना चाहते हैं तो हम रोक नहीं सकते
Image
हास्य केंद्र योग के दसवें स्थापना वर्ष में शामिल हुए विधायक कुलदीप जुनेजा
Image
पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने किया दावा --- 05 अगस्त को कश्मीर बन जाएगा पाकिस्तान, हमारी मंजिल है श्रीनगर
Image
कब्ज के लिए रामबाण दवा है सेंधा नमक, ऐसे करें सेवन
Image
सर्दियों में सॉफ्ट और खूबसूरत स्किन के लिए फॉलो करें ये जरूरी टिप्स, कोमल बनेगी त्वचा, ग्लो रहेगा बरकरार
Image
प्रदेश के IAS -IPS अफसरों सहित डिप्टी कलेक्टरों व अधिकारियों के हुए तबादले
Image
रायपुर , पूर्व विधायक श्री बैजनाथ चन्द्राकर ने करोना संक्रमण को देखते हुए छत्तीसगढ़ राज्य सहकारी बैंक (अपेक्स बैंक) के प्राधिकारी के साथ मुख्यमंत्री सहयता कोष मे 10.00 लाख की राशि दी
Image
वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा, व्यापक स्तर पर ‘लॉकडाउन’ लगाने का विचार नहीं - महामारी की रोकथाम के लिये केवल स्थानीय स्तर पर नियंत्रण के कदम उठाये जाएंगे
Image